Javed Ali and बनज्योत्सना - Gale Lag Ja Na Ja

मेरी पहली मोहब्बत है
मेरी पहली ये चाहत है
मेरी इतनी सी हसरत है गले लग जा न जा

तेरी बाँहों में राहत है
तेरी जुल्फों में जन्नत है
मेरी इतनी सी हसरत है गले लग जा न जा

सुलगे सुलगे बदन हैं उलझे उलझे से मन हैं
बढती जाती है तन की प्यास
बहकी बहकी हैं रातें
महकी महकी हैं सासें
रहना रहना तू दिल के पास

हो तू अगर सामने हो
कैसे मैं खुद को रख पाऊं होश में

डरता है दिल खता ये कर बैठे
ना मोहब्बत के जोश में

तू अगर सामने हो
कैसे मैं खुद को रख पाऊं होश में

डरता है दिल खता ये कर बैठे
ना मोहब्बत के जोश में
बदला बदला है मौसम
पिघला पिघला है यौवन
जागे जागे हैं अब एहसास
बहकी बहकी हैं रातें
महकी महकी हैं सासें
रहना रहना तू दिल के पास

मेरे जजबो की जो भी हालत है
वो समझ लो ना बिन कहे

हो इन लबों से कहो जो अरमान हैं
बरसों ये होंठ चुप रहे

हो मेरे जजबो की जो भी हालत है
वो समझ लो ना बिन कहे

इन लबों से कहो जो अरमान हैं
बरसों ये होंठ चुप रहे

ठंडी ठंढी अगन है, मिठी मिठी चुभन है
जुडती छूटती है तुझसे आस
बहकी बहकी हैं रातें
महकी महकी हैं सासें
रहना रहना तू दिल के पास

तेरी बाँहों में राहत है
तेरी जुल्फों में जन्नत है
मेरी इतनी सी हसरत है गले लग जा न जा

Written by:
PRITAM, ASHISH PANDIT

Publisher:
Lyrics © Royalty Network

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