Talat Mahmood and Lata Mangeshkar - Aye Sanam Aai Yeh Qasam [Classic Revival]

आ आ आ आ
ओ ओ ओ
ऐ सनम
ऐ सनम आज ये कसम खाये
ऐ सनम आज ये कसम खाये
मुड़ के अब देखने का नाम ना ले
प्यार की वादियों में खो जाये

ऐ सनम आज ये कसम खाये
ऐ सनम आज ये कसम खाये
और दुनिया से दूर हो जाये
ऐ सनम आज ये कसम खाये (ऐ सनम आज ये कसम खाये)

जिस तरफ जाये बहारों के सलाम आयेंगे
जिस तरफ जाये बहारों के सलाम आयेंगे
आसमानों से भी रंगीन पयाम आयेंगे

तेरा जलवा है जहाँ, मेरी जन्नत है वहाँ
तेरे होठों की हंसी, सौ बहारों का समां

ऐ सनम आज ये कसम खाये
फ़ासले प्यार के मिटा डाले
और दुनिया से दूर हो जाये
ऐ सनम आज ये कसम खाये (ऐ सनम आज ये कसम खाये)

अपना ईमान फकत अपनी मोहब्बत होगी
हरघड़ी इश्क की एक ताज़ा कयामत होगी
देखकर रंग-ए-वफ़ा मुस्कुरायेगा खुदा
और सोचेगा ज़रा, इश्क क्यो पैदा किया

इश्क क्यो पैदा किया (इश्क क्यो पैदा किया)
इश्क क्यो पैदा किया (इश्क क्यो पैदा किया)

Written by:
MADAN MOHAN, RAJINDER KRISHAN

Publisher:
Lyrics © Royalty Network

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Talat Mahmood and Lata Mangeshkar

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